Question
Download Solution PDFसूची I का सूची II से मिलान कीजिए।
सूची I (जोखिम मूल्यांकन चरण) |
सूची II (विधि) |
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A. |
संकट पहचान |
I. |
उस जनसंख्या के आकार और प्रकृति को निर्धारित करना जो कि विषैली चीजों से प्रभावित हुई हो। |
B. |
डोज (मात्रा) अनुक्रिया मूल्यांकन |
II. |
लोक स्वास्थ्य समस्या की गंभीरता का आकलन |
C. |
प्रभावन मूल्यांकन |
III. |
प्राप्त हुई डोज (मात्रा) और विपरीत स्वास्थ्य प्रभाव के मध्य संबंध की विशेषता बताना। |
D. |
जोखिम चरित्र-चित्रण |
IV. |
किसी विशिष्ट रसायन जो किसी विशिष्ट स्वास्थ्य प्रभाव से संबंधित है अथवा नहीं, इसे निर्धारित करने की |
निम्नलिखित विकल्पों में से सही उत्तर का चयन कीजिए :
Answer (Detailed Solution Below)
Detailed Solution
Download Solution PDFKey Points
सही मिलान नीचे दिया गया है:
जोखिम मूल्यांकन चरण |
विधि |
A.संकट पहचान |
IV. किसी विशिष्ट रसायन जो किसी विशिष्ट स्वास्थ्य प्रभाव से संबंधित है अथवा नहीं, इसे निर्धारित करने की |
B. डोज (मात्रा) अनुक्रिया मूल्यांकन |
III. प्राप्त हुई डोज (मात्रा) और विपरीत स्वास्थ्य प्रभाव के मध्य संबंध की विशेषता बताना। |
C. प्रभावन मूल्यांकन |
I. उस जनसंख्या के आकार और प्रकृति को निर्धारित करना जो कि विषैली चीजों से प्रभावित हुई हो। |
D. जोखिम चरित्र-चित्रण |
II. लोक स्वास्थ्य समस्या की गंभीरता का आकलन |
Important Points
A.संकट पहचान:
- इस चरण में यह पहचानना शामिल है कि कौन-से खतरे मौजूद हैं और नुकसान पहुंचाने की उनकी क्षमता का मूल्यांकन कर रहे हैं।
- यह सामान्यतः पदार्थ की विषाक्तता और किसी भी ज्ञात जोखिम मार्ग पर उपलब्ध आँकड़ों की समीक्षा करके किया जाता है।
- लक्ष्य यह निर्धारित करना है कि कौन-सी आबादी जोखिम में है और कौन-से स्वास्थ्य प्रभाव हो सकते हैं।
B. डोज (मात्रा) अनुक्रिया मूल्यांकन:
- इस चरणं में प्राप्त खुराक और प्रतिकूल स्वास्थ्य प्रभाव की संभावना के बीच संबंध को चिह्नित करना शामिल है।
- यह पशु अध्ययन या मानव महामारी विज्ञान के अध्ययन से आँकड़ों का विश्लेषण करके किया जा सकता है।
- लक्ष्य उस सीमा को निर्धारित करना है जिसके नीचे कोई प्रतिकूल प्रभाव होने की उम्मीद नहीं है और उच्च मात्रा पर प्रभाव की गंभीरता कितनी है।
C. प्रभावन मूल्यांकन:
- इस चरण में आबादी के खतरे के जोखिम को मापना शामिल है।
- यह पर्यावरण में पदार्थ की संकेंद्रता को मापने या विभिन्न मार्गों (जैसे, साँस लेना, अंतर्ग्रहण, त्वचीय संपर्क) के माध्यम से जोखिम का आकलन करके किया जा सकता है।
- लक्ष्य जोखिम की सीमा और इसे प्रभावित करने वाले किसी भी कारक को निर्धारित करना है।
D. जोखिम चरित्र-चित्रण:
- इस चरण में पिछले चरणों की जानकारी को जोड़ना शामिल है ताकि खतरे से उत्पन्न समग्र जोखिम का अनुमान लगाया जा सके।
- यह मात्रा-प्रतिक्रिया संबंध के अनुमानित जोखिम की तुलना करके और प्रतिकूल प्रभावों की संभावना और गंभीरता का निर्धारण करके किया जा सकता है।
- लक्ष्य खतरे से जुड़े जोखिमों और अनिश्चितताओं का सारांश प्रदान करना है, और किन्ही भी आँकड़ों के अंतराल या अनिश्चितता के क्षेत्रों की पहचान करना है जिसके लिए आगे की जांच की आवश्यकता हो सकती है।
अतः सही मिलान A - IV, B - III, C - I, D - II है।
Last updated on Jun 12, 2025
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